लखनऊ में गड़रिया समाज की सर्वदलीय राजनैतिक चिन्तन संगोष्ठी का आयोजन हुआ


लखनऊ, उत्तर प्रदेश। गड़रिया समाज की सर्वदलीय राजनैतिक चिन्तन संगोष्ठी का आयोजन कुछ सामाजिक 
बंधुओं द्वारा हेवेन ग्रांट होटल विक्रान्त खण्ड, गोमती नगर में डा. आम्बेडकर जयन्ती की पूर्व संध्या पर 13 अप्रैल को किया गया। जिसमें विभिन्न राजनैतिक दलों में बिखरे गड़रिया समाज को एकजुट करने पर चर्चा और परिचर्चा हुई। इस संगोष्ठी में उत्तर प्रदेश के गड़रिया समाज के सामाजिक और राजनीतिक दलों की हस्तियों ने प्रतिभाग किया। 
    संगोष्ठी में वरिष्ठ राजनीतिज्ञ श्री राजेन्द्र प्रसाद पाल, श्री सहाब सिंह धनगर उर्फ भैय्या जी, राष्ट्रीय अध्यक्ष, राष्ट्रीय शोषित समाज पार्टी तथा श्री बाबू राम पाल, राष्ट्रीय अध्यक्ष, राष्ट्र उदय पार्टी ने गड़रिया समाज को एक नई दिशा देने के लिए एक साथ मिलकर आगे बढ़ने का संकल्प लिया। 
    संगोष्ठी में श्री बाबू राम पाल ने कहा कि बिखरा हुआ समाज कभी सत्ता हासिल नहीं कर सकता। विगत कई चुनाव से गडरिया समाज का राजनीतिक पतन तेजी से पतन की ओर जा रहा है। इस पतन को रोकने के लिए और सत्ता हासिल करने के लिए मान-सम्मान, स्वाभिमान अधिकार पाने के लिए आओ हम सब एकजुट होकर सभी पिछड़े, पिछाड़े, शोषित-वंचित लोगों के हक अधिकार के लिए लड़ते हुए एक नया इतिहास रचने के तरफ आगे बढ़े। उन्होंने एकजुटता के महालक्ष्य को प्राप्त करने के लिए सामाजिक क्षेत्र के प्रभावशाली व्यक्तियों से आगे आने की अपील की। 
    इस अवसर पर शैक्षिक तथा वैश्विक चिन्तक श्री प्रदीपजी पाल ने संविधान निर्माता डा. आम्बेडकर को नमन करते हुए कहा कि प्रत्येक परिवार में समृद्धि लाने के लिए वोटरशिप कानून को शीघ्र बनाना तथा शान्ति के विश्व सरकार का समय रहते गठन करना चाहिए। मानव जाति को नई विश्व व्यवस्था या विश्व युद्ध में से एक चुनना होगा। समझदारी भरा रास्ता नई विश्व व्यवस्था के अन्तर्गत विश्व संसद की ओर ले जाता है। यूएनओ को शक्ति प्रदान करके विश्व संसद का रूप दिया जा सकता है। उसके साथ ही विश्व संविधान तथा प्रभावशाली विश्व न्यायालय का गठन आवश्यक है। अभी नहीं तो फिर कभी नहीं। 
    लोकतांत्रिक देश की तरह ही वैश्विक लोकतांत्रिक व्यवस्था के अन्तर्गत विश्व को कानून तथा संविधान द्वारा चलाया जाना चाहिए। मनुष्य ने परमाणु बमों तथा युद्धों द्वारा आपसी विवादों का हल निकालने का जंगली तरीका खोजा है। यह जंगली तरीका तृतीय विश्व युद्ध की संभावना के रूप में मानव जाति को भयभीत किया हुआ है। 
    संगोष्ठी में लखनऊ से के.के. पाल, डा. सीएल पाल, विजय पाल, एडवोकेट, इन्द्र मोहन पाल आदि ने भी अपने विचार रखे। पाल वल्र्ड टाइम्स ग्रुप के संरक्षक श्रीराम पाल, लखनऊ ने हरि कमल दर्पण साप्ताहिक समाचार पत्र तथा मोहन धारा दैनिक समाचार पत्र की प्रतियां सभी को वितरित की। 
मीडिया प्रभारी
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