दीपावली का पर्व आध्यात्मिक प्रकाश को भी फैलाने का पर्व है

जैसा कि हम सभी को अवगत है कि अगले महीने दीवाली का त्यौहार है और उससे पहले हम सभी अपने घर की साफ-सफ़ाई करते हैं। मेरा आप सभी से विनम्र अनुरोध है कि इस दीवाली अपने घर को साफ करते समय उन गरीब भाई-बन्धुओं का ध्यान रखते हुए अपने घर से उन अनचाही, अनुपयोगी वस्तुओं को हटा कर उन लोगो व घरों तक पहुँचाये जहाँ इनकी नितान्त आवश्यकता है। जिससे उन घरों तक भी खुशियाँ आसानी से पहुँच सकें। 

अनेकों चीज़े जैसे- कपड़े, जूते, चप्पल, खिलौने, बैग, पुरानी किताबें, स्टेशनरी, पुराने बर्तन आदि। जिसमे कपड़े और बच्चों के खिलौने हर घर में आवश्यकता से अधिक ही होंगे। 
सर्दियां आने वाली है और कल्पना कीजिये जिनके पास तन ढकने को कपड़े नही है उनके लिए सर्दियों का मौसम किसी अभिशाप से कम न होगा। कृप्या ध्यान दे हम सभी के पास ऐसे बहुत से कपड़े होंगे, जिन्हें हमने एक या दो बार किसी पार्टी में पहनने के बाद उठा कर रख दिया होगा और आगे पहनना भी नही चाहते। ये हमारे out dated clothes किसी के लिए brand new clothes हो सकतें हैं। बहुत से ऐसे कपड़े जो हमे कहीं से मिलते है, पर हमारी पसंद से अलग हैं, उन्हें भी बाहर निकाले। अगर कोई कपड़ा प्रयोग किये हुए आपको 6 महीने से ज्यादा हो गया है, तो कुछ सवाल अपने आप से पूछें? 
* क्या ये मुझे पसंद है?
* क्या ये मुझको सही आ रहा है? 
* क्या इसका फैशन चला गया है?
* क्या मैं इसको अब पहनना चाहता हूँ या चाहती हूँ?
उत्तर अगर न में हो तो आपको पता है कि आपको क्या करना है। यही स्थति सभी वस्तुओं के साथ है। 

यकीन मानिए किसी जरूरत मंद की सहायता करके आपको अपार खुशी का अनुभव होगा। आपका एक छोटा सा प्रयास किसी के जीवन मे खुशियों की सौगात दे सकता है। और मदद करने के लिए आपको किसी को ढूंढने की जरूरत नहीं ऐसे तमाम लोग आपको अपने आस-पास नज़र आ जाएंगे।
By N S Hindwal

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